तबु

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तबु
Tabu 2012.jpg
जन्म हैदराबाद, भारत
व्यवसाय फिल्म अभिनेत्री
कार्यकाल 1991, 1994 – अबतक

तब्बू (साँचा:lang-hi) (तबस्सुम फातिमा हाशमी (साँचा:lang-te) (अंग्रेजी  Tabassum Fatima Hashmi) का जन्म 4 नवम्बर 1970 को हुआ) एक भारतीय फिल्म अभिनेत्री है। हालांकि उन्होंने कई तमिल, तेलुगू, मलयालम, बंगला भाषा एवं साथ ही एक अमरीकी फिल्म में भी काम किया है, लेकिन मुख्यतः उन्होंने हिंदी फिल्मों में ही अभिनय किया है। उन्हें दो बार सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री का राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार मिल चुका है एवं उन्हें सबसे अधिक बार सर्वश्रेष्ठ महिला कलाकार की श्रेणी में फ़िल्मफ़ेयर पुरस्कार, चार बार, जीतने का रिकॉर्ड भी हासिल हैं।

कुछ अपवादों के बावजूद, तब्बू मुख्यतः कलात्मक एवं कम बजट फिल्मों में अपने अभिनय के लिए जानी जाती हैं, जो बॉक्स ऑफिस पर आंकड़े (रुपये) जुटाने की बजाय कहीं अधिक आलोचनात्मक सराहना जुटाती हैं। व्यावसायिक तौर पर सफल फिल्मों में उनकी उपस्थिति कम ही रही है और ऐसी फिल्मों में उनकी भूमिका भी बहुत छोटी रही हैं, मसलन-बॉर्डर (1997), साजन चले ससुराल (1996), बीवी नंबर वन Hum Saath-Saath Hain: We Stand United (1999) आदि फ़िल्में. फिल्म माचिस (1996), विरासत (1997), हु तू तू (1999) अस्तित्व (2000), चांदनी बार (2001), मक़बूल (2003) एवं चीनी कम (2007) में उन्होंने उल्लेखनीय अभिनय किया है। मीरा नायर की अमेरिकी फिल्म 'द नेमसेक ' में भी उनकी मुख्य भूमिका को काफी प्रशंसा मिली। अपनी फिल्मों एवं भूमिकाओं के मामले में काफी चुनिन्दा मानी जाने वाली इस अभिनेत्री का कहना है कि 'मैं वही फ़िल्में करती हूं, जो मुझे भावुक बना दे एवं सबसे महत्वपूर्ण बात यह कि फिल्म की यूनिट एवं निर्देशक मुझे प्रभावित करने चाहिए। [१]

प्रारम्भिक जीवन

तब्बू 1971 में हैदराबाद में पैदा हुई जो जमाल हाशमी व रिजवाना की पुत्री हैं,[२] हालांकि कुछ स्रोतों से उनके जन्म का वर्ष 1970 होने के भी संकेत मिले हैं। उनके जन्म के तुरंत बाद ही उनके माता-पिता का तलाक़ हो गया। उनकी मां एक स्कूल अध्यापिका थीं एवं उनके नाना-नानी, जो एक स्कूल चलाते थे, सेवा-निवृत्त प्राध्यापक थे। उनके नाना, मोहम्मद एहसान, अंकगणित के प्राध्यापक थे और नानी अंग्रेजी साहित्य की प्राध्यापिका थीं। उन्होंने अपनी पढ़ाई हैदराबाद के सेंट एन्स हाई स्कूल में की। 1983 में तब्बू मुंबई चली गयी एवं उन्होनें दो वर्षों तक वहां के सेंट ज़ेवियर्स कॉलेज में पढ़ाई की। [३]

वे शबाना आज़मी की भतीजी एवं अभिनेत्री फरहा नाज़ की छोटी बहन हैं। उनके घर मुंबई एवं हैदराबाद दोनों जगहों पर हैं।[४]

कैरियर

प्रारंभिक कैरियर

तबस्सुम 'तब्बू' हाशमी ने अपने करियर की शुरुआत पंद्रह साल की उम्र में 'हम नौजवान ' (1985) फिल्म से की. इस फिल्म में उन्होंने (देव था आनंद की बेटी) एक दुष्कर्म पीड़िता का किरदार निभाया था , बाद मे देव साहब ने ही इन्हे तब्बू नाम दिया। एक अभिनेत्री के रूप में उनकी पहली भूमिका एक तेलुगू फिल्म, कुली नंबर 1 में थी। दिसम्बर 1987 में, बोनी कपूर ने अपनी दो बड़ी फिल्मों, रूप की रानी चोरों का राजा एवं प्रेम, की शुरुआत की. प्रेम में तब्बू को संजय कपूर के साथ लिया गया। यह फिल्म आठ साल में बनकर तैयार हुई. तब्बू ने एक बार मजाक में कहा "मुझे इस दशक का, सबसे ज्यादा इंतज़ार करने वाली नयी अभिनेत्री का अवॉर्ड मिलना चाहिए." मुख्य किरदार के रूप में हिंदी में उनकी पहली रिलीज़ हुई फिल्म थी पहला पहला प्यार, जो लोगों का ज़रा भी ध्यान आकर्षित नहीं कर पाई.[५] विजयपथ (1994) में अजय देवगन के साथ उनकी भूमिका के बाद वे प्रतिष्ठित हुईं, इस फिल्म के लिए उन्हें सर्वश्रेष्ठ महिला नवागंतुक अवॉर्ड हासिल हुआ। इसके बाद भी उनकी कई फ़िल्में आयीं, जो बॉक्स ऑफिस पर कोई कमाल नहीं दिखा पायीं.

सफलता (1996 - वर्तमान)

1996 में, तब्बू की आठ फ़िल्में रिलीज़ हुईं. इनमें से दो फ़िल्में, साजन चले ससुराल एवं जीत काफी सफल रहीं; दोनों ने ही उस साल की टॉप पांच फिल्मों में जगह बना ली.[६] उनकी अन्य महत्वपूर्ण फिल्म माचिस फिल्म समीक्षकों द्वारा काफी सराही गयी थी। इस फिल्म में, सिक्ख आतंकवाद के उदय के समय पकड़ी जाने वाली एक पंजाबी महिला की उनकी भूमिका को बहुत सराहना मिली एवं उन्हें सर्वश्रष्ठ अभिनेत्री का अपना पहला राष्ट्रीय फिल्म अवॉर्ड मिला.

1997 में रिलीज़ होने वाली उनकी पहली फिल्म थी बॉर्डर . यह फिल्म 1997 के भारत-पाक युद्ध के दौरान लोंगेवाला की लड़ाई से जुड़ी जीवन की सच्ची घटनाओं के बारे में थी। उन्होनें इस फिल्म में सन्नी देवल की पत्नी की भूमिका निभाई थी। उनकी भूमिका इस फिल्म में छोटी थी, लेकिन यह फिल्म 1997 की सबसे बड़ी हिट बनी.[७] उसी वर्ष, उन्होंने समीक्षकों द्वारा सराही गयी फिल्म विरासत में भी भूमिका निभाई. यह फिल्म बॉक्स ऑफिस पर सफल रही; तब्बू को अपने अभिनय के लिए फिल्मफेयर समीक्षक अवॉर्ड मिला.

1999 में उन्होंने दो सफल बहु-अभिनीत फिल्मों, बीवी नंबर 1 एवं हम साथ साथ हैं, में अभिनय किया।Hum Saath-Saath Hain: We Stand United दोनों फ़िल्में उस वर्ष की क्रमशः पहली और दूसरी सबसे बड़ी हिट फ़िल्में रहीं.[८]

चित्र:Aditi(Tabu)&Shreekant(Sachin Khedekar).jpg
तब्बू, अस्तित्व में सचिन खेडेकर के साथ अदिति के रूप में

सन् 2000 में, अभिनेत्री ने हेराफेरी और अस्तित्व में अभिनय किया। इनमें से पहली फिल्म बॉक्स ऑफिस पर काफी हिट रही, जबकि दूसरी समीक्षकों द्वारा सराही गयी।[९] उन्हें अस्तित्व के लिए, सर्वश्रेष्ठ अभिनय का अपना तीसरा फिल्म फेयर समीक्षक अवॉर्ड मिला.[१०]

2001 में उन्हें मधुर भंडारकर निर्देशित फिल्म चांदनी बार में देखा गया। एक बार-डांसर के उनके चित्रण को एक सिरे से सभी ने सराहा एवं अपने अभिनय के लिए उन्होनें सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री का अपना दूसरा राष्ट्रीय फिल्म अवॉर्ड जीता। [११] समीक्षक तरण आदर्श के शब्दों में, "चांदनी बार पूरी तरह से तब्बू की फिल्म है और इसमें कोई दो राय नहीं." उनका अभिनय सबसे अधिक अंकों एवं सभी अवॉर्डों का हक़दार है। उनका काम दोषरहित है एवं उनके चरित्र का जो असर दर्शकों के दिल-ओ-दिमाग़ पर पड़ता है वह उनके चरित्र रूपायन की क्षमता के कारण ही है।[१२] एक दूसरे समीक्षक के अनुसार 'अगर कोई अभिनेत्री पूरी फिल्म को अपने कन्धों पर उठा सकती है, तो वह है तब्बू. हमेशा की तरह वो अपने किरदार में निखर उठती हैं।[१३]

उन्होंने कई तेलुगू फिल्मों में काम किया है, जिनमें से बहुत सी तो काफी सफल थी, मसलन - कुली नंबर 1 एवं निन्ने पेल्लादुत्था. इनमें से दूसरी तो उनकी सबसे अधिक प्रसिद्द व मशहूर फिल्मों में से एक है।[१४]

2003 में तब्बू ने विलियम शेक्सपियर की मैकबेथ पर आधारित एक फिल्म में अभिनय किया। इसमें इस अभिनेत्री ने लेडी मैकबेथ के चरित्र पर आधारित 'निम्मी' का किरदार निभाया। मक़बूल नाम की यह फिल्म विशाल भारद्वाज द्वारा निर्देशित थी एवं इसे 2003 में टोरंटो अंतर्राष्ट्रीय फिल्म महोत्सव में प्रदर्शित किया गया।[१५] यूं तो मक़बूल बॉक्स ऑफिस पर असफल रही, लेकिन इसे भरपूर प्रशंसा मिली। इसमें तब्बू के अभिनय को बहुत सराहना मिली। समीक्षक रॉनी अहलुवालिया के अनुसार 'तब्बू एक स्याह किरदार में भी चमकती हैं। बॉलीवुड की सबसे बहुमुखी प्रतिभासंपन्न अभिनेत्री खलनायिका का किरदार ऐसे निभाती हैं, मानो वह उनके स्वभाव का ही हिस्सा हो। वह खतरनाक और सम्मोहक है, पर अपने चेहरे पर एक मासूम भाव रखती है, जिससे वह अपने चरित्र में कहीं अधिक घिनौनी बन जाती हैं। उनका ताने मारने का तरीका उनके चरित्र के हिसाब से बिलकुल सटीक है। उनकी क्रमिक विक्षिप्तता ह्रदय-विदारक है एवं अपने आवेग का उनका अंतिम विस्फोट निस्संदेह फिल्म की विशेषता है।[१६] एक अन्य समीक्षक ने कहा, "तब्बू एक जटिल किरदार में अद्भुत नज़र आयीं. इस फिल्म में उनका प्रदर्शन अवॉर्ड के लायक है। चांदनी बार के बाद यह ऐसा दूसरा किरदार है, जिसके लिए उन्हें लम्बे समय तक याद किया जायेगा."[१७]

वे फ़ना (2006) में आमिर खान और काजोल के साथ सहायक भूमिका में थीं। यह फिल्म उस वर्ष की चौथी सबसे बड़ी हिट बनी। [१८]

सन् 2007 में, तब्बू ने अपनी पहली हॉलीवुड फिल्म, मीरा नायर निर्देशित 'द नेमसेक ' में अभिनय किया। यह फिल्म विदेशों में बड़ी हिट हुई.[१९] उन्होंने चीनी कम में भी अभिनय किया, जिसमें उन्होंनें एक 34 साल की महिला की भूमिका निभाई जिसे, अमिताभ बच्चन द्वारा अभिनीत, एक 64 वर्षीय आदमी से प्यार हो जाता है। इस फिल्म को समीक्षकों से सकारात्मक प्रतिक्रियाएं मिलीं। तरण आदर्श ने कहा 'तब्बू अपने दुर्जेय सह-अभिनेता की हावी हो जाने लायक उपस्थिति के बावजूद अपनी पहचान बना लेती हैं। वे उत्कृष्ट हैं।[२०] हालांकि यह फिल्म देश के भीतर खूब नहीं चली, लेकिन इसने विदेशों में, ख़ास तौर पर ब्रिटेन और अमेरिका में, अच्छा प्रदर्शन किया।[२१]

वर्ष 2009 की उनकी शुरुआत वोग इंडिया के जनवरी 2009 अंक के कवर पर छापे जाने से हुई।

निजी जीवन

वह एशियाई फिल्म एवं टेलीविज़न अकादमी के अंतर्राष्ट्रीय क्लब, नोयडा की आजीवन सदस्य हैं।

1998 में, हम साथ साथ हैं की शूटिंग के दौरान उनपर अपने सह-कलाकारों सलमान खान, सैफ अली खान, सोनाली बेंद्रे एवं नीलम के साथ कांकणी में दो काले हिरण के शिकार का आरोप लगा था।[२२] ये आरोप जल्दी ही हटा लिए गए एवं तब्बू को इन आरोपों से बरी कर दिया गया।[२३]

फिल्मोग्राफी

वर्ष फिल्म भूमिका नोट्स
१९८५ हम नौजवान प्रिया एक बाल कलाकार और देवानंद की बेटी के रूप में
१९९१ कुली नंबर 1 तेलुगू फिल्म
१९९४ पहला पहला प्यार सपना
विजयपथ मोहिनी अक मोना विजेता, फ़िल्मफ़ेयर सर्वश्रेष्ठ नवोदित अभिनेत्री अवॉर्ड
१९९५ प्रेम लची / सोनिया जेटली
साजन की बाहों में कविता
सिसिंद्री तेलुगू फिल्म
हक़ीकत सुधा
१९९६ साजन चले ससुराल दिव्य खुराना
कालापानी पार्वती मलयालम फिल्म
काधल देसम दिव्या तमिल फ़िल्म
विजेता फ़िल्मफ़ेयर सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री अवॉर्ड (तमिल)
हिम्मत अंजू
तू चोर मैं सिपाही काजल
जीत तुलसी विशेष भूमिका में, फ़िल्मफ़ेयर सर्वश्रेष्ठ सहायक अभिनेत्री अवॉर्ड के लिए मनोनीत
निन्ने पेल्लादत्था महालक्ष्मी तेलुगू फिल्म
विजेता, सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री का फिल्म फेयर अवॉर्ड (तेलुगू)
माचिस वीरन्द्र विजेता, राष्ट्रीय फिल्म अवॉर्ड के लिए सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री नामजद, फ़िल्मफ़ेयर सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री पुरस्कारमनोनीत
१९९७ विरासत गहना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन के लिए फ़िल्मफेयर समीक्षक अवॉर्डकी विजेता
मनोनीत, फिल्मफेयर सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री पुरस्कार
दरमियां चित्रा
बोर्डर कुलदीप की पत्नी
इरुवर सेल्वम के प्रेमी तमिल फ़िल्म
१९९८ चाची 420 जानकी पासवान
आविदा मां आविदे अर्चना तेलुगू फिल्म
टू थाउजंड वन बिल्लू
हनुमान अनजा
१९९९ कोहराम : द एक्स्प्लोजन इंस्पेक्टर किरण पाटेकर
Hum Saath-Saath Hain: We Stand United साधना
हु तू तू पन्ना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन के लिए फ़िल्मफेयर समीक्षक अवॉर्ड की विजेता
मनोनीत, फिल्मफेयर सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री पुरस्कार
बीवी नं० 1 लवली
तक्षक सुमन
ठायीं मनिकोदी रानी तमिल फ़िल्म
२००० स्नेगिथिये एसीपी गायत्री तमिल फ़िल्म
कवर स्टोरी जस्मीन मलयालम फिल्म
हेराफेरी अनुराधा शिवशंकर पनिकर
कन्दुकोदयन कन्दुकोदयन सोव्मिया तमिल फ़िल्म
तरकीब रोशनी चौबे
दिल पे मत ले यार कम्य लाल
शिकारी सुमन
अस्तित्व अदिति सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन के लिए फ़िल्मफेयर समीक्षक अवॉर्डकी विजेता
मनोनीत, फिल्मफेयर सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री पुरस्कार
२००१ घात कविता चौधरी
दिल ने फिर याद किया रोशनी बत्रा
चांदनी बार मुमताज अली अंसारी विजेता, राष्ट्रीय फिल्म के लिए सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री का पुरस्कार
मनोनीत, फिल्मफेयर सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री पुरस्कार
आमदनी अठन्नी खर्चा रुपैया मीना
२००२ मां तुझे सलाम कप्तान सोनिया खन्ना
फिलहाल ... रीवा सिंह
चेन्नकेशव रेड्डी सीता तेलुगू फिल्म
जिंदगी खूबसूरत हे शालू
साथिया सावत्री राव नक्‍क़ाशी
२००३ आबार अरण्ये अमृता बंगला फिल्म
खंजर : द नाइफ शिल्पा
हवा संजना
Jaal: The Trap नेहा पंडित
मकबूल निम्मी
२००४ मैं हूं ना विशेष उपस्थिति
Meenaxi: A Tale of Three Cities मीनाक्षी / मारिया
२००५ सिलसिले रेहाना
भागमती भागमती
अन्दरिवादु शांति तेलुगू फिल्म
२००६ शॉक गीता तेलुगू फिल्म
फना मालिनी त्यागी
२००७ सरहद पार पम्मी
द नेमशेक आशिमा गांगुली
चीनी कम नीना वर्मा सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन के लिए फ़िल्मफेयर समीक्षक अवॉर्डकी विजेता
ओम शांति ओम स्वयं दीवानगी दीवानगी गीत में विशेष उपस्थिति
२००८ इदी संगती स्वराज्य लक्ष्मी तेलुगू फिल्म
पन्दुरंगादु अमृता तेलुगू फिल्म
२०१० द लेजेंड ऑफ़ कुणाल तिष्यरक्षिता फिल्मांकन
सीज़ंस ग्रीटिंग्स फिल्मांकन
Toh Baat Pakki! राजेश्वरी सक्सेना
खुदा कसम Neetu Singh
२०१२ Life of Pi गीता पटेल
२०१३ डेविड Frenny
२०१४ जय हो गीता अग्निहोत्री
हैदर Ghazala Meer
२०१५ Drishyam मीरा देशमुख
Talvar रीमा कुमार
2०१६ Fitoor Begum Hazrat Jaan

सन्दर्भ

बाहरी कड़ियाँ

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