दम लगा के हईशा

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दम लगा के हईशा
चित्र:दम लगा के हईशा पोस्टर.jpeg
सिनेमाघर की प्रचार छवि
निर्देशक शरत कटारिया
निर्माता आदित्य चोपड़ा
मनीष शर्मा
अभिनेता आयुष्मान खुराना
भूमि पेडनेकर
संगीतकार अनु मलिक
स्टूडियो यश राज फ़िल्म्स
प्रदर्शन साँचा:nowrap [[Category:एक्स्प्रेशन त्रुटि: अनपेक्षित उद्गार चिन्ह "२"। फ़िल्में]]
  • 27 February 2015 (2015-02-27)
देश भारत
भाषा हिन्दी
लागत १५० मिलियन (US$१.९७ मिलियन)[१]
कुल कारोबार ३०० मिलियन (US$३.९४ मिलियन)[२]

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दम लगा के हईशा एक भारतीय बॉलीवुड फिल्म है। इसका निर्देशन शरत कटारिया ने किया है। इसमें मुख्य भूमिका में आयुष्मान खुराना और भूमि पेडनेकर हैं। यह फ़िल्म 27 फरवरी 2015 को सिनेमाघरों में प्रदर्शित हो चुकी है।

कहानी

वर्ष 1995 में प्रेम प्रकाश तिवारी (आयुष्मान खुराना) एक हरिद्वार के स्थानीय बाजार में एक छोटी सी दुकान चलाता है। उसके पिता जी उसकी शादी एक पढ़ी लिखी और अधिक वजनी लड़की संध्या वर्मा (भूमि पेडनेकर) से करा देते हैं। लेकिन प्रेम एक मोटी लड़की से शादी करने के कारण उससे दूर रहता है। उसके मित्र और अन्य साथी उसका मज़ाक़ उड़ाते रहते हैं। इस कारण प्रेम तनाव में रहने लगता है।

एक दिन प्रेम के मित्र की शादी में वह दोनों जा रहे होते हैं। जहाँ वह शराब पी लेता है और संध्या के बारे में इधर-उधर की बात कह देता है। यह सुनकर संध्या सभी लोगों के सामने उसे थप्पड़ मार देती है। इसके बाद प्रेम भी उसे वापस थप्पड़ मार देता है। दूसरे दिन यह किस्सा घर में एक गरमा-गरम विषय बन जाता है। संध्या प्रेम के पिताजी पर आरोप लगाती है की उसने प्रेम को महिलाओं के प्रति कोई अच्छी शिक्षा नहीं दी। वह घर छोड़ कर अपने माता पिता के घर चले जाती है। वहाँ उसे अपने पति के घर जाने बोलते हैं तो वह कहती है कि उसका निर्णय नहीं बदलेगा। प्रेम भी अब अपनी पिछली परीक्षा को उत्तीर्ण करने का प्रयास करता है।

इसी दौरान उसके दुकान के पास सामान-उत्पाद बेचने वाला एक दुकान खोल देता है। प्रेम उससे बात करने के लिए जाता है। वह दुकानदार उसे केवल इसी शर्त में वहाँ से हटता है यदि वह 'दम लगा के हईशा' प्रतियोगिता जीत जाए (जिसमें अपनी पत्नी को अपने कंधो पर बैठा कर दौड़ना होता है)।

न्यायालय में प्रेम और संध्या दोनों ने तलाक के लिए आवेदन किए हुए होते हैं। न्यायाधीश उन दोनों को 6 महिने एक साथ रह कर देखने के लिए वक्त देता है। प्रेम और संध्या इसी बीच एक दूसरे को जानने लगते हैं। प्रेम संध्या को इस प्रतियोगिता में भाग लेने के लिए तैयार कर लेता है। दोनों प्रतियोगिता में हिस्सा लेते हैं। जहाँ अन्य 9 प्रतियोगी आगे नहीं बढ़ पाते और धीरे धीरे कर प्रेम और संध्या आखिर तक पहुँच कर जीत जाते हैं।

कलाकार

  • आयुष्मान खुराना - प्रेम प्रकाश तिवारी
  • भूमि पेडनेकर - संध्या वर्मा
  • कुमार सानु - कुमार सानु
  • संजय मिश्रा - चंद्रभन तिवारी
  • अलका अमीन - शशि तिवारी
  • शीबा चड्ढा - नैन तारा
  • सीमा पाहवा - सुभद्रा रानी
  • श्रीकांत वर्मा - शाखा बाबू
  • पूरवा नीरज - संध्या का वकील
  • कुणाल मल्ला - बड़े जीजाजी
  • सोनाली शर्मा आनंद - हेमा
  • चन्द्र चूर राय - निर्मल
  • जाहिदूर इस्लाम षुवों - षुवों

संगीत

चित्र:मोह मोह के धागे नमूना.ogg
"मोह मोह के धागे" का १५ सेकंड का नमूना

इस फिल्म के लिए संगीत अनु मलिक ने दिया है और बोल वरुण ग्रोवर ने लिखे हैं। मोनाली ठाकुर को गीत "मोह मोह के धागे" के लिए श्रेष्ठ गायिका का राष्ट्रीय फ़िल्म पुरस्कार मिला। वरुण ग्रोवर को भी इस गीत के लिए श्रेष्ठ गीतकार का राष्ट्रीय फ़िल्म पुरस्कार मिला।

सभी गीत वरुण ग्रोवर द्वारा लिखित; सारा संगीत अनु मलिक द्वारा रचित।

गीतों की सूची
क्र॰शीर्षकSinger(s)अवधि
1."मोह मोह के धागे (पुरुष)"पापोन5:22
2."दम लगा के हईशा"कैलाश खेर, ज्योति नूरां & सुल्ताना नूरां3:34
3."तू"कुमार सानु4:52
4."सुंदर सुशील"मालिनी अवस्थी, राहुल राम4:48
5."दर्द करारा"कुमार सानु, साधना सरगम4:15
6."मोह मोह के धागे (नारी)"मोनाली ठाकुर5:22
7."प्रेम थीम"पापोन3:05
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इन्हें भी देखें

सन्दर्भ

  1. साँचा:cite web
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बाहरी कड़ियाँ