पांचवा संविधान संशोधन अधिनियम, १९५५
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पांचवा संविधान संशोधन अधिनियम, १९५५
यह भारतीय संविधान-सम्बन्धित लेख अपनी प्रारम्भिक अवस्था में है, यानि कि एक आधार है।
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इस संसोधन में अनु.3 में संसोधन किया गया। इस संसोधन द्वारा राष्ट्रपति को यह शक्ति प्रदान की गयी कि वह राज्य विधान मंडलों द्वारा अपने राज्य क्षेत्रो , सीमाओ आदि पर प्रभाव डालने वाले केन्द्रीय विधियों के बारे में अपने विचार भेजने के लिए राष्ट्रपति कोई भी सीमा निर्धारित कर सकता है।