उदयभान सिंह राठौड़

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उदयभान सिंह राठौड़ एक राजपूत सरदार था जिसने अपनी ही मिट्टी को धोखा दिया था। उसे मुग़ल सम्राट जयसिंह प्रथम ने नियुक्त किया और औरंगजेब के नेतृत्व में उसे मुगलों का सेनापति नियुक्त किया। उदयभान कोंढाणा किले का किलेदार था। उदयभान तलवार चलाने में बड़ा निपूर्ण था बड़े बड़े तलवारबाज उसके आगे टीक नहीं पाते थे। अष्टमी की रात को जब तानाजी मालुसरे ने अपने साथियों के साथ कोंढाणा किले पर हमला किया था तब उदयभान ने तलवारबाजी में अपनी इसी निपुर्णता के कारण तानाजी मालुसरे का एक हाथ काट दिया था किन्तु उदयभान को मारने के लिए एक हाथ ही तानाजी मालुसरे के लिए काफी था और उन्होंने एक हाथ से लड़ते हुए ही उदयभान सिंह राठौड़ को मार डाला।