भिंड ज़िला

मुक्त ज्ञानकोश विकिपीडिया से
(भिंड ज़िले से अनुप्रेषित)
नेविगेशन पर जाएँ खोज पर जाएँ
The printable version is no longer supported and may have rendering errors. Please update your browser bookmarks and please use the default browser print function instead.
भिंड ज़िला
Bhind district
मानचित्र जिसमें भिंड ज़िला Bhind district हाइलाइटेड है
सूचना
राजधानी : भिंड
क्षेत्रफल : 4,459 किमी²
जनसंख्या(2011):
 • घनत्व :
17,03,564
 380/किमी²
उपविभागों के नाम: तहसीलें
उपविभागों की संख्या: 9 (भिंड,गोहद,मौ,रौन, लहार,मेहगांव,गोरमी,अटेर,मिहोना)
मुख्य भाषा(एँ): हिन्दी


भिंड ज़िला भारत के मध्य प्रदेश राज्य का एक ज़िला है। ज़िले का मुख्यालय भिंड है।[१][२]

विवरण

भिण्ड के गाँव भदौरिया राजाओं के काल से ही स्वतंत्र रहे है। भिण्ड के गाँव के लोगो के रोज़गार का साधन कृषि है। आज़ादी के बाद से यहाँ के लोग को एक नई पहचान मिली वो देश की सेवा में संलग्न हो गए। ओर तभी यहाँ के लोग सेना में जाकर देश की रक्षा करते हैं। भिण्ड सौभरि ब्रह्मण का का गढ़ माना जाता है।

प्रमुख तथ्य

  • गौरी सरोवर के किनारे एक प्राचीन गणेश मन्दिर स्थित है।
  • भिण्ड का सबसे बड़ा गाँव अमायन है।
  • दंदरौआ मंदिर यहाँ का एक प्राचीन मंदिर है। वहाँ पर प्रतिष्ठित हनुमान जी की मूर्ति डॉ हनुमान के नाम से प्रसिद्ध है,यह मंदिर भिंड जिले की मौ तहसील में आता है।
  • वनखंडेश्वर मन्दिर पृथ्वीराज चौहान द्वारा निर्मित एक शिवालय है। जो कि गौरी सरोवर के निकट है।
  • भिंड चम्बल नदी के बीहड़ के लिए भी प्रसिद्ध है, जहाँ कुछ समय पहले तक डाकुओं का राज़ रहा।
  • ऐसा माना जाता है ,भिण्ड का नाम महान भिन्डी ऋषि के नाम पर रखा गया है।इसके नाम पर भदावर राजाओं के के नाम और है
  • भारत के सर्वाधिक साक्षर जिलों में से एक भिण्ड मंत्रमुग्ध कर देने वाली वास्तुकला के लिए भी जाना जाता है।
  • भिंड जिले से करीब 30,000 सैनिक देश की सुरक्षा में तत्पर है
  • मध्यप्रदेश में सबसे कम वर्षा भिंड जिले की
  • मौ तहसील में होती है।
  • गोहद में एक प्रसिद्ध छैकुर वाले हनुमान जी का मंदिर है मालनपुर यहाँ का औद्योगिक क्षेत्र है, जो कि गोहद तहसील में ही पड़ता है। जिसे सूखा पॉर्ट भी कहा जाता है।
  • भिंड जिले की मौ तहसील सबसे छोटी तहसील है।
  • गोहद तहसील स्थित गोहद का किला बहुत ही प्राचीन स्थल है।
  • भिंड जिला भोपाल इंदौर जबलपुर के बाद सर्वाधिक पुरूष साक्षर जिला है।

प्रमुख स्थल

  • वनखण्डेश्वर मन्दिर भिंड
  • त्रयम्बकेश्वर महादेव मंदिर भिंड
  • बटेश्वर महादेव मंदिर
  • भिंडी ऋषि का मंदिर भिंड
  • माँ रेणुका मंदिर जमदारा(मौ)
  • गहियर धाम देबगढ
  • डिडी हनुमान जी मंदिर
  • गौरी सरोवर पार्क भिंड
  • नरसिंह भगवान मन्दिर सायना(मेहगांव)
  • भिण्ड का किला(भदौरिया राजाओं का)
  • अटेर का किला(भदौरिया राजाओं की राजधानी)
  • श्री नरसिंह भगवान मंदिर मौ
  • दंदरौआ मंदिर मौ
  • जागा सरकार हनुमान मंदिर लौहरपुरा(मौ)
  • जामना वाले हनुमानजी
  • पावई वाली शारदा माता
  • श्री सीताराम बाबा रतवा(मौ)
  • श्री मस्तराम बाबा रसनोल(मौ)
  • कचनाव खुर्द(गोरमी से 9 कि.मी.दूर उत्तर दिशा) में प्राचीन शिव मंदिर जिसे काई बाले शंकर जी के नाम से जाना जाता है ।
  • भिंड में शिव के मंदिरों की श्रृंखला में 100 से अधिक मंदिर है जो अपने आप में एक धाम है साथ ही इन मंदिरों की अपनी-अपनी महत्ता है और गौरी सरोवर की नौका विहार अत्यंत मनोरम है यहाँ राष्ट्रीय नौका प्रतियोगिता का आयोजन होता है।

ज़िले की तहसीलें

ज़िले के गाँव

ज़िले के कुछ प्रमुख ग्राम: सरसई, कनावर, ग्राम मानहड़, पड़राई का पुरा (सतपाल),, जरपुरा,, मुस्तरा,, मेघपुरा,, सेंपुरा,, असोखर,, पीपरी, हीरापुरा, रमपुरा, सोनपुरा, रावतपुरा, रजगढ़िया, कृपेकापुरा, कल्याणपुरा, हसनपुरा, मोहनपुरा, राऊपुरा, आलमपुरा, रजपुरा, कुरथरा, भुजपुरा, उदोतपुरा, बुलाखी का पुरा।, परा, सुखवासी का पूरा, रिदौली, रमटा, प्रताप, पुरा, विंडवा, जवासा, मड़ैया, गडू़पुरा, पुलावली, मुरलीपुरा, मेहदोली, जगन्नाथपुरा, बिहारीपुरा, कल्यानपुरा, ऊमरी, अकोड़ा, देवगढ, किटी, मौतीपुरा, रुर, गैवत, मिरचौली, दीनपुरा, जवाहरपुरा, डिडी, कमई, मधुपुरा, पांडरी, सगरा, नयागांव, टेहनगुर, गहेली, अमायन, कनाथर।

मानहड ग्राम देश का भदौरियो का सबसे बड़ा गांव है। कुछेक गांव भिंड नगर पालिका में आ गये है साथ ही अटेर के आस पास के गांव बीहड़ क्षेत्र में आते है। मेहगांव तहसील के गाँवों की भूमि का स्तर सीधा है, और भूमि अधिक उपजाऊ है ।

इन्हें भी देखें

सन्दर्भ

  1. "Inde du Nord: Madhya Pradesh et Chhattisgarh स्क्रिप्ट त्रुटि: "webarchive" ऐसा कोई मॉड्यूल नहीं है।," Lonely Planet, 2016, ISBN 9782816159172
  2. "Tourism in the Economy of Madhya Pradesh," Rajiv Dube, Daya Publishing House, 1987, ISBN 9788170350293