ज़िया फ़तेहाबादी
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ज़िया फ़तेहाबादी (१९१३ - १९८६) उर्दू लेखक एवं कवि थे। ज़िया फ़तेहाबादी, फ़तेहाबाद (ज़िला: तरन तारन) निवासी मेहर लाल सोनी का उपनाम था।
संक्षिप्त परिचय
ज़िया फ़तेहाबादी, जिनका जन्म नाम मेहर लाल सोनी था और जो ९ फ़रवरी १९१३ को भारत में पंजाब प्रान्त के नगर कपूरथला में पैदा हुए थे, उर्दू भाषा के कवि थे। उनका सम्बन्ध मिर्ज़ा खाँ दाग़ देहलवी के अदबी खानदान से था। उनके उस्ताद आगरा निवासी सीमाब अकबराबादी मिर्ज़ा खाँ दाग़ के शिष्य थे। ज़िया, जिन्हों ने १९२५ में कवितायेँ लिखना आरम्भ कर दी थीं, १९३० में सीमाब के शिष्य बन गए थे। उर्दू ग़ज़ल के अतिरिक्त सीमाब की दिखाई हुई राह पर चलते हुए ज़िया ने भी क़ता, रुबाई और नज्में लिखीं जिन में सानेट और गीत भी शामिल हैं जो कि अब भारतीय साहित्य का एक अटूट अंग हैं। उनके पिता, मुंशी राम सोनी, हिन्दुस्तानी गायकी में रूचि रखते थे और यूँ माना जाता है कि इनका यह शौक़ ज़िया को शायर बनाने में मददगार साबित हुआ | ज़िया ने जयपुर के महाराजा हाई स्कूल (१९२३ से १९२९ तक) और लाहोर के फोर्मन क्रिस्चियन कालेज (१९३० से १९३५ तक) में पढ़ते शिक्षा प्राप्त की थी | लाहोर उर्दू अदब का मर्क़ज़ था यहीं उनका सम्बन्ध पहले कृष्ण चन्द्र और मीरा जी के साथ और बाद में साग़र निज़ामी और जोश मलीहाबादी के साथ हुआ था।
शिक्षा प्राप्त करने के पश्चात ज़िया फ़तेहाबादी १९३६ में रिज़र्व बैंक आफ़ इंडिया में भर्ती हो गए थे जहां उन्हों ने १९७१ तक नौकरी की और अवकाश ग्रहण किया | १९४२ में आपका विवाह लाहोर निवासी मुरली राम बरेरा की सुपुत्री राज कुमारी (देहांत : २००३) के साथ हुआ था।
ज़िया फ़तेहाबादी की कविताओं का प्रथम संग्रह " तुल्लू " नाम से १९३३ में साग़र निज़ामी ने मेरठ से छापा था, दूसरा संग्रह " नूर ए मशरिक़ " १९३७ में दिल्ली से छपा जिस के छपने के बाद ज़िया को उर्दू दुनिया ने उस वक़्त के नवीन रचनाकारों में प्रथम श्रेणी का कवि माना | अब तक उनके कुल ग्यारह संग्रह छप चुके हैं। उनकी अधिकांश कविताएँ आम बोल-चाल की हिन्दुस्तानी सरल भाषा में लिखी गई हैं जिन में रस और घुलावट व इंसानियत के दर्द का नर्म नर्म अहसास झलकता है। ज़िया फ़तेहाबादी ने अपनी कविताओं द्वारा अपनी सोच से जन्मी रोशन किरणों से रात के अँधकार को कम करने का प्रय्तन किया और दबी हुई अनेक आशाओं को दोबारा जाग्रत करने का भी प्रयास किया था। वह आशावादी थे और उनकी रचनाएँ उनकी शख्सियत का आईनादार हैं।
ग़ौर तलब है कि ज़िया फ़तेहाबादी की जीवनी और शायरी पर नागपुर की डाक्टर ज़रीना सानी M.A.Ph.D. का एक रिसर्च १९७९ में " बूढा दरख़्त " के नाम से प्रकाशित हुआ था। इस से पहले १९७७ में मालिक राम द्वारा किया रिसर्च " ज़िया फ़तेहाबादी - शख्स और शायर " इल्मी मजलिस, दिल्ली, द्वारा प्रकाशित हो चुका था। इस के बाद १९८९ में धुलिया के शब्बीर इक़बाल ने मुंबई यूनिवर्सिटी से अपनी थीसिस - " आनजहानी मेहर लाल सोनी ज़िया फ़तेहाबादी - हयात और कारनामे " पर पीएच.डी. की डिग्री हासिल की थी |
ज़िया फ़तेहाबादी का देहांत १९ अगस्त १९८६ दिल्ली के सर गंगा राम अस्पताल में हुआ था, तब वह ७३ बरस के थे |
प्रकाशित काव्य संग्रह
- तुल्लू
- नूर ए मशरिक़
- ज़िया के सौ शेअर
- नई सुबह
- गर्द ए राह
- हुस्न ए ग़ज़ल
- धुप और चाँदनी
- रंग ओ नूर
- सोच का सफ़र
- नर्म नर्म गर्म हवाएं
- मेरी तस्वीर
एक नज़्म
- बातें
- छोडो ये दुनिया की बातें - आओ प्यार की बातें कर लें
- खाली है मुद्दत से झोली - उसको आस उम्मीद से भर लें
- आस उम्मीद न हो तो इन्सां - जीते जी ही मर जाता है
- टक्कर क्या तूफ़ान से लेगा - जो इक मौज से डर जाता है
- डर कर जीना मौत से बदतर - चलती फिरती ज़िंदा लाशें
- सोई हुई जज़्बात की हलचल - कुचले हुए ज़हनों के सुकूँ में
- ज़हन अगर बेदार न होंगे - खौफ़ दिलों पर तारी होगा
- आगाज़ ओ अंजाम ए हस्ती - मजबूरी, लाचारी होगा
- इन मजबूर फ़िज़ाओं में हम - प्रीत और प्यार का रंग मिला दें
- सहराओं और वीरानों को - सेराबी का भेद बता दें
- चेहरों से हो दूर उदासी - उनवान ए मज़मून ए हस्ती
- राहें नई खुल जाएं सब पर - कुल दुनिया का नक्शा बदले
- होश ओ ख़िरद के दीवाने भी - कायल हों दिल की अज़मत के
- मुफ़लिस की नादारी में भी - अंदाज़ ए शाही पैदा हो
- इश्क़ में लोच इतना आ जाए - हुस्न की महबूबी पैदा हो
- माह ए मुहब्बत की किरणों से - रोशन अपनी रातें कर लें
- छोडो ये दुनिया की बातें - आओ प्यार की बातें कर लें
सन्दर्भ एवं सूत्र
- बूढा दरख्त लेखक : ज़रीना सानी (https://web.archive.org/web/20150217105545/https://openlibrary.org/books/OL24596004M/Budha_Darakhat)
- ज़िया फतेहाबादी - शख्स और शायर लेखक : मालिक राम (https://web.archive.org/web/20110628184952/http://books.google.com/books?id=UR_EGwAACAAJ)
- कविता कोष (http://www.kavitakosh.org/ziafatehabadi)(Archivedसाँचा:category handlerसाँचा:main otherसाँचा:main other[dead link] at https://www.webcitation.org/64eYNpSDo?url=http://www.kavitakosh.org/ziafatehabadi)
- '''ज़िया फ़तेहाबादी - जखीरा ''' (http://jakhira.com/2011/03/16/biography-mehr-lal-soni-zia-fatehabadi/साँचा:category handlerसाँचा:main otherसाँचा:main other[dead link])
- ज़िया फ़तेहाबादी (https://www.webcitation.org/6CPcrWWiG?url=http://kv.nilambar.com/poet/7770353)
- '''मेरी तस्वीर''' (Meri Tasveer) (Hindi) (https://web.archive.org/web/20170805144027/http://ziafatehabadi.weebly.com/uploads/2/0/7/0/20704710/meri_tasveer.pdf) (Archived at https://www.webcitation.org/6sUADLLw0)