थल
थल | |
— नगर — | |
समय मंडल: आईएसटी (यूटीसी+५:३०) | |
देश | साँचा:flag |
राज्य | उत्तराखण्ड |
ज़िला | [[ज़िला|]] |
जनसंख्या | ५००० (अनुमानित)[१] |
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थल उत्तराखंड राज्य के पिथौरागढ़ जनपद में रामगंगा नदी के तट पर स्थित एक छोटा सा नगर है।
यहाँ १६वीं शताब्दी का एक शिव मंदिर है। १९५७ से १९६२ तक यह अल्मोड़ा जनपद का एक विकासखंड था।
३० सितम्बर २०१४ से यह पिथौरागढ़ जनपद की एक तहसील है। बेरीनाग तथा डीडीहाट तहसील के ११४ ग्रामों से इसका गठन किया गया।
इतिहास
थल पिथौरागढ़ जिले के सबसे पुराने कस्बों में है। थल में १६वीं सदी का शिव मंदिर है। इस मंदिर में भगवन शिव के बालेश्वर रूप की पूजा होती है। बिखौत संक्रांत के समय यहाँ ८ दिन का मेला लगता था, जिसमें १९११ के आसपास लगभग १५००० लोग एकत्रित होते थे।[२]
थल में १९५५ में अल्मोड़ा से सड़क पहुंची और १९५७ में तत्कालीन यूपी सरकार ने थल में विकासखंड कार्यालय खोल दिया।[३] इस विकासखंड के अधीन 600 गांव आते थे। 1962 तक थल में विकासखंड का कामकाज चलता रहा, लेकिन अचानक सरकार ने विकासखंड कार्यालय बंद कर दिया और थल विकासखंड में आने वाले गांवों को डीडीहाट, बेड़ीनाग विकासखंड में बांट दिया।[३]
१९६२ में थल में रामगंगा नदी के ऊपर ६८ मीटर लम्बा पुल बनाया गया था।[४] ११ अक्टूबर २००० को यहाँ एक प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र खोला गया था।[५]
प्रशाशन
थल में तहसील के गठन की अधिसूचना ३० सितंबर २०१४ को जारी हुई थी, लेकिन सरकार ने इस तहसील में कामकाज एक साल बाद १३ सितंबर २०१५ से शुरू किया। बेड़ीनाग और डीडीहाट तहसील के कई पटवारी क्षेत्रों के ११४ गांव थल तहसील में शामिल किए गए थे।[६]
अर्थव्यवस्था
थल मेले में भोटिया व्यापारी तिब्बत लौटने से पहले आखिरी बार बर्तन तथा ऊन बेचते थे।[७] इसके अतिरिक्त काशीपुर तथा अल्मोड़ा के कपड़ों और सौर तथा सिरा से आये तेल तथा मिर्च उत्पादों का भी क्रय-विक्रय होता था।
पर्वतीय क्षेत्रों में मिनी मंडियां बनाकर स्थानीय उत्पादकों को लाभावित करने के लिए थल में मंडी परिषद की योजना के तहत एक मंडी स्वीकृत की गई। इसके पीछे थल, डीडीहाट, मुनस्यारी, बेरीनाग से उत्पादित होने वाली साग, सब्जी, फल और अनाज इस मंडी में पहुंचने थे ताकि स्थानीय उत्पादकों को बिचौलियों से मुक्ति मिले और उत्पादक प्रेरित हो सकें।[८]
आवागमन
थल में १९५५ में अल्मोड़ा से सड़क पहुंची। यह सड़क अल्मोड़ा से शुरू होकर बागेश्वर, उडियारी तथा थल होते हुए मुन्स्यारी तक जाती है।[९]
शिक्षा
स्व. हरीदत्त पंत राजकीय इंटर कॉलेज थल में स्थित है। २०१७ में यहाँ ३५० छात्र अध्ययन कर रहे थे।[१०]