हरिप्रसाद चौरसिया
हरिप्रसाद चौरसिया | |
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पृष्ठभूमि की जानकारी | |
जन्म | साँचा:br separated entries |
मृत्यु | साँचा:br separated entries |
शैलियां | Hindustani classical music, film score |
Flutist, composer | |
वाद्ययंत्र | Bansuri |
सक्रिय वर्ष | 1957- |
संबंधित कार्य | Shivkumar Sharma, Brij Bhushan Kabra, Zakir Hussain, John McLaughlin, Jan Garbarek |
जालस्थल | hariprasadchaurasia.com |
हरिप्रसाद चौरसिया या पंडित हरिप्रसाद चौरसिया (जन्म: १ जुलाई १९३८इलाहाबाद) प्रसिद्ध बांसुरी वादक हैं। उन्हे भारत सरकार ने १९९२ में पद्म भूषण तथा सन २००० में पद्मविभूषण से सम्मानित किया था।
जीवन परिचय
पंडित हरिप्रसाद चौरसिया जी का जन्म 1 जुलाई, 1938 को उत्तर प्रदेश के इलाहाबाद में हुआ था। इनके पिता पहलवान थे। उनकी माता का निधन उस समय हो गया। जब वह पांच साल के ही थे। हरिप्रसाद चौरसिया का बचपन गंगा किनारे बनारस में बीता। उनकी शुरुआत तबला वादक के रूप में हुई। अपने पिता की मर्जी के बिना ही पंडित हरिप्रसाद जी ने संगीत सीखना शुरु कर दिया था। वह अपने पिता के साथ अखाड़े में तो जाते थे लेकिन कभी भी उनका लगाव कुश्ती की तरफ नहीं रहा।
संगीत की शिक्षा
अपने पड़ोसी पंडित राजाराम से उन्होंने संगीत की बारीकियां सीखीं। इसके बाद बांसुरी सीखने के लिए वह वाराणसी के पंडित भोलानाथ प्रसाना के पास गए। संगीत सीखने के बाद उन्होंने काफ़ी समय ऑल इंडिया रेडियो के साथ भी काम किया।संगीत में उत्कृष्टता हासिल करने की खोज उन्हें बाबा अलाउद्दीन ख़ाँ की सुयोग्य पुत्री और शिष्या अन्नापूर्णा देवीकी शरण में ले गयी, जो उस समय एकांतवास कर रही थीं और सार्वजनिक रूप से वादन और गायन नहीं करती थीं। अन्नपूर्णा देवी की शागिर्दी में उनकी प्रतिभा में और निखार आया और उनके संगीत को जादुई स्पर्श मिला।[1
कार्यक्षेत्र
पंडित हरिप्रसाद चौरसिया ने बांसुरी के जरिए शास्त्रीय संगीत को तो लोकप्रिय बनाने का काम किया ही, संतूर वादक पंडित शिवशंकर शर्मा के साथ मिलकर ‘शिव-हरि’ नाम से कुछ हिन्दी फ़िल्मों में मधुर संगीत भी दिया। इस जोड़ी की फ़िल्में हैं- चांदनी, डर, लम्हे, सिलसिला, फासले, विजय और साहिबान। पंडित चौरसिया ने एक तेलुगु फ़िल्म ‘सिरीवेनेला’ में भी संगीत दिया। जिसमें नायक की भूमिका उनके जीवन से प्रेरित थी। इस फ़िल्म में नायक की भूमिका 'सर्वदमन बनर्जी' ने निभायी थी और बांसुरी वादन उन्होंने ही किया था। इसके अलावा पंडित जी ने बालीवुड के प्रसिद्ध संगीतकारों सचिन देव बर्मन और राहुल देव बर्मन की भी कुछ फ़िल्मों में बांसुरी वादन किया।[02]
सम्मान एवं पुरस्कार
पंडित हरिप्रसाद चौरसिया को कई अंतरराष्ट्रीय सम्मानों से नवाजा गया। इन्हें फ्रांसीसी सरकार का ‘नाइट ऑफ दि आर्डर ऑफ आर्ट्स एंड लेटर्स’ पुरस्कार और ब्रिटेन के शाही परिवार की तरफ से भी उन्हें सम्मान मिला है। इसके अतिरिक्त कई राष्ट्रीय पुरस्कार भी मिले हैं -
- संगीत नाटक अकादमी पुरस्कार- 1984
- कोणार्क सम्मान- 1992
- पद्म भूषण- 1992
- पद्म विभूषण- 2000
- हाफ़िज़ अली ख़ान पुरस्कार- 2000
बाहरी कड़ियाँ
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