सिनसिनवार
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सिनसिनवार जाटों का गोत्र है । इस गोत्र वाले जाटों का उद्गम भरतपुर जिले के सिनसिनी एवम उसके नजदीकी गांवों से माना जाता है। सिनसिनवार गोत्र के मुख्य रूप से 2 गड़ माने जाते हैं प्रथम पेंघौर ( 12 गांवों का संगठित रूप) दूसरा 7 गांवों का गठन (सिनसिनी महरावर साबौरा बरताई लांकी कुरबरा उसरानी) [१] भरतपुर के जाट राजा सूरजमल भी सिनसिनवार गोत्र के जाट थे। सिनसिनी गाँव का नाम सिनसिना देव के आधार पर रखा गया है।[२] महाभारत शल्य पर्व में इसका उल्लेख है।