बंगलुरु दंगे २०२०

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2020 Bangalore riots
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तिथी 9 pm to 12:00 am, 11 August 2020 साँचा:cn [१]
जगह Bangalore , India
साँचा:coord
कारण Social media post about Prophet Muhammad [२]
लक्ष्य attack on Indian National Congress MLA Akhanda Srinivasa Murthy
विधि स्क्रिप्ट त्रुटि: "list" ऐसा कोई मॉड्यूल नहीं है।
आहत
मौत3[४]
हताहत60 cops & 5 rioters in Police action [३]
गिरफ्तारी110 (including detained)[५]

साँचा:namespace detect 11 अगस्त 2020 की रात को, उत्तर-पूर्वी बैंगलोर, कर्नाटक, भारत में हिंसक दंगे हुए। [६] भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के दलित विधायक अखण्ड श्रीवास मूर्ति के घर पर 200 से अधिक मुस्लिम व्यक्तियों की भीड़ ने आग लगा दी। इसके बाद भीड़ ने डीजे हल्ली पुलिस स्टेशन पर हमला किया और वहां खड़ी गाड़ियों को आग लगा दी। वे विधायक के एक रिश्तेदार द्वारा पैगंबर मुहम्मद पर एक कथित अपमानजनक फेसबुक टिप्पणी के खिलाफ विरोध कर रहे थे। इन दंगों में कम से कम तीन से चार लोगों की मौत हो गई और लगभग 90 पुलिस कर्मी घायल हो गए , 200 गाड़िया जला दी गयी। पुलिस बल प्रयोग कर स्थिति को नियंत्रण में लाया गया। [७] [८] [९] बनासवाड़ी पुलिस थाने की सीमा में कर्फ्यू लगाया गया था। अगले दिन 200 से अधिक लोगों को गिरफ्तार किया गया। [१०]

पृष्ठभूमि

कथित तौर पर एक आरक्षित निर्वाचन क्षेत्र के दलित कांग्रेस विधायक के रिश्तेदार द्वारा पैगंबर मुहम्मद पर एक फेसबुक पोस्ट पर 11 अगस्त 2020 की रात को दंगे भड़क उठे। भीड़ कांग्रेस विधायक अखण्ड श्रीनिवास मूर्ति के कायल बैरासांद्र आवास के बाहर जमा होकर तकबीर के नारे लगाने लगी। भीड़ ने मूर्ति के भतीजे कहे जाने वाले नवीन की गिरफ्तारी की मांग करते हुए आगजनी का सहारा लिया। [११] जब भीड़ ने आगजनी शुरू करी तब विधायक घर पर नहीं थे । प्रदर्शनकारियों ने विधायक के घर के बाहर खड़ी कारों को क्षतिग्रस्त करते हुए पथराव शुरू कर दिया।

एक अन्य भीड़ पुलिस स्टेशन की तरफ गयी गई और विधायक के भतीजे के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करने को लेकर दबाव बनाने लगी लेकिन जब पुलिस ने प्राथमिकी लिखने से इनकार किया तो भीड़ ने हिंसक रूप धारण कर लिया और डीजे हल्ली पुलिस स्टेशन पर हमला कर दिया, परिसर में आग लगा दी और वाहनों में तोड़फोड़ की। कुछ ने दंगों में मोलोटोव कॉकटेल का भी इस्तेमाल किया। स्थिति को नियंत्रित करने के लिए पुलिस ने गोलियां चलाईं जिसमें कम से कम दो प्रदर्शनकारी मारे गए। पूरे बंगलौर शहर में धारा 144 के तहत था और केजी हल्ली और डीजे हल्ली पुलिस थाना क्षेत्रों में कर्फ्यू लगा दिया गया। पुलिस ने दंगों में 60 जवानों के घायल होने की सूचना दी।

भीड़ के कुछ सदस्यों पर आरोप है कि उन्हें इस्लामिक कट्टरपंथी संगठन पीएफआई के राजनीतिक संगठन एसडीपीआई का समर्थन प्राप्त है। [१२]

पुलिस की कार्रवाई

कर्नाटक सरकार के गृह मंत्री बसवराज बोम्मई ने इस मुद्दे का संज्ञान लिया एवं जैसे ही डीजे होली पुलिस स्टेशन में भीड़ ने दंगाइयों को इकट्ठा करना शुरू किया गृह मंत्री ने अतिरिक्त बलों की तैनाती का आदेश दे दिया। [१३] सिटी पुलिस कमिश्नर कमल पंत की अगुवाई में पुलिस ने शुरू में केजी हल्ली और डीजे होली की तंग गलियों से गुजरना मुश्किल पाया क्योंकि भीड़ के एक हिस्से ने पुलिस पर पथराव और बोतलें फेंकीं और उनका रास्ता रोक दिया। पुलिस उपायुक्त (पूर्व) एसडी शरणप्पा के साथ वरिष्ठ अधिकारियों ने भीड़ को शांत करने का प्रयास किया, लेकिन वे असफल रहे। बाद में, भीड़ को तितर-बितर करने के लिए पुलिस ने लाठीचार्ज और आंसू गैस का सहारा लिया। पुलिस कमिश्नर कमल पंत के अनुसार, पुलिस को हवा में गोली चलाने के लिए मजबूर होना पड़ा। हिंसा प्रभावित क्षेत्रों में भारी पुलिस तैनाती के बाद स्थिति को नियंत्रण में लाया गया। पूर्व-डिवीजन से संबंधित कम से कम 150 कर्मियों को कार्रवाई में लगाया गया। [१४] भीड़ द्वारा 60 से अधिक अधिकारियों को घायल कर दिया गया जिसकी वजह से डीजे हल्ली और केजी हल्ली पुलिस थानों की सीमाओं में दंड प्रक्रिया संहिता की धारा 144 लगाई गई है।

संयुक्त पुलिस आयुक्त (अपराध) बेंगलुरु, संदीप पाटिल के अनुसार कथित रूप से उकसाने वाली सोशल मीडिया पोस्ट पर हिंसा से संबंधित पुलिस द्वारा 110 गिरफ्तारियां की गई हैं। [१५]

पुलिस ने दंगों के सिलसिले में एक स्थानीय एसडीपीआई नेता को भी गिरफ्तार किया है। [१६] [१७]

प्रतिक्रिया

कर्नाटक राज्य के मुखियामंत्री बीएस येदियुरप्पा ने इसमें शामिल होने वाले दंगाइयों के खिलाफ सख्त कार्रवाई का आदेश दिया है।

डीके शिवकुमार, सिद्धारमैया और दिग्विजय सिंह सहित कांग्रेस के नेताओं ने पूरी तरह से अपमानजनक पोस्ट का आरोपी मानकर इस मुद्दे को कम करने की कोशिश की। कर्नाटक सरकार ने कहा कि दंगे सुनियोजित और संगठित थे। [१८] [१९]

विधायक के भतीजे ने दावा किया कि उसका फेसबुक अकाउंट हैक कर लिया गया था। विधायक ने 11 अगस्त की शाम एक वीडियो संदेश के माध्यम से शांति की अपील की।

यह भी देखें

संदर्भ

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