अब्दुल रहमान मस्जिद
अब्दुल रहमान मस्जिद Abdul Rahman Mosque | |
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د عبدالرحمان جومات | |
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धर्म संबंधी जानकारी | |
सम्बद्धता | साँचा:br separated entries |
अवस्थिति जानकारी | |
अवस्थिति | साँचा:if empty |
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भौगोलिक निर्देशांक | साँचा:coord |
वास्तु विवरण | |
प्रकार | मस्जिद |
शैली | इस्लामी |
निर्माता | साँचा:if empty |
निर्माण पूर्ण | 2009 |
ध्वंस | साँचा:ifempty |
आयाम विवरण | |
क्षमता | 10,000 |
गुंबद | 14 |
मीनारें | 2 |
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अब्दुल रहमान मस्जिद; Abdul Rahman Mosque (फारसी: مسجد عبدالرحمان; साँचा:lang-ps), जिसे काबुल की ग्रैंड मस्जिद भी कहा जाता है, अफगानिस्तान में सबसे बड़ी मस्जिदों में से एक है। यह काबुल के वाणिज्यिक इलाके में में स्थित है, जिसे देह अफगानिस्तान कहा जाता है। इमारत तीन मंजिला ऊंची है, जो 3.5 एकड़ जमीन पर बनाई गई है। भवन की एक मंजिल केवल महिलाओं को समर्पित है।[१] मस्जिद का नाम हाजी अब्दुल रहमान नामक एक प्रभावशाली अफगान व्यापारी के नाम पर है, मस्जिद के निर्माण के दौरान म्रत्यु हो गयी थी, लेकिन उनके बेटों ने इस परियोजना को जारी रखा। मस्जिद का निर्माण हाजी अब्दुर रहमान ने 2001 में शुरू किया था लेकिन लाल टेल के कारण कई वर्षों के लिए देरी हुई थी। मस्जिद में एक समय में 10,000 लोगों की प्रार्थना व करने की क्षमता है। मस्जिद के भीतर एक मदरसा भी है और 150,000 किताबों वाली एक पुस्तकालय है।.[१] मस्जिद का प्रमुख काम 2009 के उत्तरार्ध में पूरा हुआ था लेकिन आधिकारिक उद्घाटन जुलाई 2012 में हुआ था जिसमें अफगानिस्तान के पूर्व राष्ट्रपति हामिद करजई और कई अन्य वरिष्ठ अधिकारियों ने भाग लिया था। [1] माना जाता है कि मस्जिद का निर्माण शुरू में अफगान वास्तुकार मीर हाफिज़ुल्लाह हाशिमी द्वारा डिजाइन किया गया था।विदेशी सहायता के रूप से देखा जाए तो सऊदी अरब ने निर्माण के लिए 100 मिलियन डॉलर दिए।.[२]