सुवर्णा
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प्राचीन ग्रन्थों के अनुसार सुवर्णा देवशिल्पी भगवान विश्वकर्मा की कन्या , सरण्यू की बहिन , शनिदेव तथा भद्रा की माता और भगवान सूर्यनारायण की पत्नी हैं कुछ स्थानों पर सुवर्णा को सरण्यू की परछाई भी बताया गया है | ऐसा कहा जाता है कि जब शनिदेव सुवर्णा के गर्भ में थे तब उन्होंने भगवान शिव की बहुत कठिन भक्ति की जिसमें उन्होंने अन्न और जल का त्याग कर दिया था जिससे उसका प्रभाव उनके गर्भ में पल रहे बालक पर हो गया | भगवान सूर्य सुवर्णा से अधिक सरण्यू को प्रेम करते थे और सुवर्णा से उन्हें प्रेम शनि के कारण हुआ | सुवर्णा शनि के आलावा एक पुत्री की भी माता हैं उनकी पुत्री का नाम भद्रा है जो भगवान धनेश्वर की पत्नी हैं |