मथुरा प्रसाद 'नवीन'
नेविगेशन पर जाएँ
खोज पर जाएँ
The printable version is no longer supported and may have rendering errors. Please update your browser bookmarks and please use the default browser print function instead.
मथुरा प्रसाद 'नवीन' (14 जुलाई 1928-18 दिसंबर 2011) मगही और हिंदी के जाने-माने कवि, गीतकार और लेखक हैं। बड़हिया गाँव, लखीसराय (बिहार) के रहने वाले मथुरा प्रसाद नवीन मगही के महान कवि हैं और उनको मगही का कबीर भी कहा जाता है।[१] प्रगतिशील साहित्य आंदोलन से आजीवन जुड़े रहे और बिहार प्रगतिशील लेखक संघ के अध्यक्ष भी रहे मथुरा प्रसाद 'नवीन' ने विपुल लेखन किया है। उनके गीत जन आंदोलनों में गाए जाते रहे हैं। उनकी मगही कविताओं का लोकप्रिय संग्रह (राहे राह अन्हरिया कटतौ) का प्रकाशन 1990 में हुआ था। [२]
सन्दर्भ
- ↑ मगही के कबीर का स्मरण, http://www.chauthiduniya.com/2016/08/kabir-recalled-magahi.html स्क्रिप्ट त्रुटि: "webarchive" ऐसा कोई मॉड्यूल नहीं है।
- ↑ जैसा चल रहा है, वैसा चलेगा नहीं!, http://sonemattee.com/1599-2/