नाभिकीय गलाव

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नाभिकीय गलाव परमाणु भट्ठी के विफल होने की भयंकर घटना है, जिससे परमाणु विद्युत उत्पादन यंत्र पूरी तरह विफल हो जाता है। नाभिकीय गलाव की स्थिति में परमाणु रिक्टरों में प्रयुक्त शीतलक जैसे बोरॉन काम करना बंद कर देते हैं। शीतलक के निष्क्रिय होने पर यूरेनियम और प्लूटोनियम जैसे विखंडनकारी पदार्थ परमाणु भट्टी को अत्यंत गर्म गला देते हैं। ऐसा होने से रेडियोसक्रिय किरणें वायुमंडल और वातावरण में फैलकर जीव-जंतुओं तथा पादपों को घातक हानि पहुंचा सकते हैं। यह वजह है कि परमाणु भट्टी या परमाणु भवन को इस्पात, कंक्रीट से पूरी तरह वायुबंद बनायी जाती है, जिसकी दीवार डेढ़ से ढाई मीटर मोटी होती है। अभियांत्रिकी की भाषा में, परमाणु गलाव या विगलन गंभीरतम घटना है, जिससे रिएक्टर को गंभीर हानि पहुंचती है।