क्रॉफर्ड मार्केट
नेविगेशन पर जाएँ
खोज पर जाएँ
The printable version is no longer supported and may have rendering errors. Please update your browser bookmarks and please use the default browser print function instead.
इस लेख में सन्दर्भ या स्रोत नहीं दिया गया है। कृपया विश्वसनीय सन्दर्भ या स्रोत जोड़कर इस लेख में सुधार करें। स्रोतहीन सामग्री ज्ञानकोश के उपयुक्त नहीं है। इसे हटाया जा सकता है। (अक्टूबर 2021) साँचा:find sources mainspace |
क्रॉफर्ड मार्केट (आधिकारिक तौर पर महात्मा ज्योतिबा फुले मंडई ) दक्षिण मुंबई के सबसे मशहुर बाजारों में से एक है। यह भवन 1869 में बनकर तैयार हुआ था और कोवासजी जहांगीर ने इसे शहर को दान कर दिया था। मूल रूप से शहर के पहले नगर आयुक्त आर्थर क्रॉफर्ड के नाम पर इसका नाम रखा गया था मगर बाद में बाजार का नाम महाराष्ट्रीयन समाज सुधारक महात्मा जोतिराव फुले के सम्मान में बदल दिया गया। बाजार मुंबई पुलिस मुख्यालय के सामने, छत्रपति शिवाजी टर्मिनस रेलवे स्टेशन के उत्तर और एक व्यस्त चौराहे पर जेजे फ्लाईओवर के पश्चिम में स्थित है। मार्च 1996 तक यह मुंबई में फलों का मुख्य थोक बाजार था, जब थोक व्यापारियों को नवी मुंबई में स्थानांतरित कर दिया गया था।
1882 में, यह भवन भारत में बिजली से जगमगाने वाला पहला भवन थ।