आनन्द कुमार
आनन्द कुमार | |
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जन्म |
आनन्द कुमार 1 जनवरी 1973 (उम्र 44) पटना, बिहार, भारत |
अन्य नाम |
सुपर 30 मैन, सुपर टीचर |
शिक्षा प्राप्त की |
बिहार नेशनल कॉलेज, पटना विश्वविद्यालय |
व्यवसाय | शिक्षाविद, गणितज्ञ |
कार्यकाल | 2002 - वर्तमान |
प्रसिद्धि कारण | सुपर 30 |
जीवनसाथी | ऋतू रश्मि |
माता-पिता |
जयन्ती देवी (माता) |
संबंधी |
प्रणव कुमार (भाई) जगत कुमार (पुत्र) |
पुरस्कार | एस॰ रामानुजन पुरस्कार (2010),[१] मौलाना अबुल कलाम आज़ाद शिक्षा पुरस्कार (नवम्बर 2010)[२] |
वेबसाइट सुपर 30 का आधिकारिक जालस्थल |
आनन्द कुमार (जन्म 1 जनवरी 1973) एक भारतीय गणितज्ञ, शिक्षाविद तथा बहुत सी राष्ट्रीय तथा अन्तरराष्ट्रीय गणित की पत्रिकाओं के स्तम्भकार हैं। उन्हें प्रसिद्धि सुपर 30 कार्यक्रम के कारण मिली, जो कि उन्होंने पटना, बिहार से 2002 में प्रारम्भ किया था, जिसके अन्तर्गत आर्थिक रूप से पिछड़े छात्रों को आईआईटी संयुक्त प्रवेश परीक्षा की तैयारी करवाया जाता है। 2018 के आँकड़ों के अनुसार, उनके द्वारा प्रशिक्षित 480 में 422 छात्र भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी) के लिये चयनित हो चुके हैं। डिस्कवरी चैनल ने भी इनके कार्यों पर लघु फ़िल्म बनाई है।[३][४][५][६][७] उन्हें संयुक्त राज्य अमेरिका के मैसच्युसेट्स प्रौद्योगिकी संस्थान तथा हार्वर्ड विश्वविद्यालय द्वारा उनके कार्यों पर बोलने के लिये निमंत्रण मिला।[८]
प्रारम्भिक जीवन
आनन्द कुमार का जन्म पटना, बिहार में हुआ था। उनके पिताजी भारतीय डाक विभाग में क्लर्क थे।[९] उनके पिताजी निजी विद्यालयों के अधिक खर्चों के कारण उन्हें वहाँ पढ़ा न सके। इस कारण आनन्द कुमार ने हिन्दी माध्यम के सरकारी विद्यालय में दाखिला लिया, जहाँ उन्हें गणित से अत्यधिक लगाव हो गया।[१०][११] स्नातक शिक्षा के दौरान उन्होंने संख्या सिद्धांत पर कुछ पेपर जमा किये, जिसे मैथमैटिकल स्पेक्ट्रम तथा द मैथमैटिकल गज़ट में प्रकाशित किया गया।[१०]
उन्होंने कैम्ब्रिज विश्वविद्यालय में दाखिला सुरक्षित कर लिया मगर पिताजी की मृत्यु तथा खराब आर्थिक स्थिति के कारण वे दाखिला ले न सके।[१०][१२][१३] इस दौरान वे सुबह गणित पर काम करते तथा शाम को परिवार की मदद हेतु माँ के साथ पापड़ बेचने में हाथ बटाते थे। उन्होंने अतरिक्त पैसे कमाने के लिये बच्चों को गणित पढाना भी प्रारम्भ किया।[१०][१३]
आनंद कुमार कौन है
आनंद कुमार सुपर 30 के सस्थांपक हैं । यह " Super 30 " के नाम से एक Institute चलाते है । जिसमे गरीब छात्रो को IIT कि फ्री में कोचिंग क्लास दी जाती है । आनंद कुमार एक गणितज्ञ होने के साथ – साथ एक अच्छे Teacher भी है। आनंद कुमार जी एक ऐसे व्यक्ति है , जिन्होंने गरीब छात्रो को मुफ्त में शिक्षा देकर उनकी काबिलियत को समझा है । इनका मुख्य उद्देश्य है कि गरीब छात्रो को IIT JEE में प्रवेश के लिए तैयारी करना। IIT में हर छात्र प्रवेश पाने के लिए सपने देखता है । कुछ छात्र होनहार होने के बावजूद भी IIT में प्रवेश नही ले पाते है क्योंकि उनके पास इतने पैसे नही होते है कि वह एक अच्छी कोचिंग कर सके इसीलिए उनके सपने को पूरा करने के लिए आनंद कुमार सुपर 30 के छात्रो को मुप्त में शिक्षा देते है ।
शिक्षण कैरियर तथा सुपर 30
1992 में उन्होंने गणित पढ़ाना आरम्भ किया।[१०][११] उन्होंने 5000 रूपए प्रति महीने पर एक कक्षा किराये पर ली तथा अपने संस्थान रामानुजन स्कूल ऑफ़ मैथमैटिक्स की स्थापना की।[१०][१४] एक ही वर्ष में दो छात्रों से बढ़कर छत्तीस छात्र हो गये और तीसरे साल के अन्त तक यह संख्या 500 तक हो गयी।[१०] फिर 2002 में उन्होंने गरीब छात्रों के विशेष निवेदन पर, जो कि आईआईटी संयुक्त प्रवेश परीक्षा की महंगी कोचिंगों की फीस नहीं दे सकते थे, सुपर 30 कार्यक्रम प्रारम्भ किया, जिसके कारण उन्हें प्रतिष्ठा मिली।[१०][१३]
पहचान
मार्च 2009 में डिस्कवरी चैनल ने सुपर 30 पर 3 घंटा लम्बा कार्यक्रम दिखाया।[४][१२][१५] इसी वर्ष अमेरिकी समाचारपत्र द न्यूयॉर्क टाइम्स ने आधे पन्ने पर उनके बारे में दो लेख लिखा।[१२] अभिनेत्री व् पूर्व मिस जापान नोरिका फुजिवारा पटना आयीं तथा उन्होंने आनन्द कुमार के कार्यों पर एक लघु फ़िल्म बनायी।[१४] उन्हें बीबीसी के कार्यक्रमों में भी स्थान मिला है।[१२] उन्होंने अपने अनुभवों के बारे में भारतीय प्रबंध संस्थान, अहमदाबाद, कई आईआईटी, ब्रिटिश कोलम्बिया विश्विद्यालय, टोक्यो विश्वविद्यालय, तथा स्टेनफ़ोर्ड विश्वविद्यालय में भाषण दे चुके हैं।[१२][१६][१७][१८] उनके आर्थिक रूप से कमजोर छात्रों को निःशुल्क शिक्षा देने के काम के कारण लिम्का बुक ऑफ़ वर्ल्ड रिकॉर्ड में भी उनका नाम दर्ज हुआ।[१९] टाइम पत्रिका ने सुपर 30 को बेस्ट ऑफ़ एशिया 2010 की सूची में भी स्थान दिया। इन्हें 2010 में इंस्टिट्यूट ऑफ़ रीसर्च एण्ड डाॅक्युमेंटेशन इन सोशल साइंसेस द्वारा एस रामानुजन पुरस्कार दिया गया।[१]
सुपर 30 को पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा के विशेष सिपहसालार राशिद हुसैन ने देश का सर्वश्रेष्ठ संस्थान कहा।[२०] न्यूज़वीक पत्रिका ने आनन्द कुमार के कार्यों का संज्ञान लेते हुए उनके संस्थान को चार सर्वाधिक अभिनव संस्थान में स्थान दिया।[२१] उन्हें नवम्बर 2010 में बिहार सरकार का सर्वोच्च पुरस्कार "मौलाना अबुल कलाम आज़ाद शिक्षा पुरस्कार" मिला।[२]
उन्हें जर्मनी के सैक्सोनी प्रान्त के शिक्षा विभाग द्वारा सम्मानित किया गया।[२२] आनन्द कुमार को राष्ट्रपति राम नाथ कोविन्द द्वारा "राष्ट्रीय बाल कल्याण पुरस्कार" प्रदान किया गया।[२३] कैलिफोर्निया के सैन जोस में ऑर्गनाइजेशन की 25 वीं सालगिरह के मौके पर एक समारोह में 'फाउंडेशन फॉर एक्सीलेंस' (एफएफई) द्वारा 46 वर्षीय कुमार को 'एजुकेशन एक्सीलेंस अवार्ड 2019' दिया गया।
सन्दर्भ
- ↑ अ आ साँचा:cite webसाँचा:category handlerसाँचा:main otherसाँचा:main other[dead link]
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