मार्को पोलो
मार्को पोलो | |
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जन्म | अ. १२५४, अनुमानतः वेनिस में |
मृत्यु |
8, १३२५साँचा:age) वेनिस, वेनिस गणराज्य | (उम्र
स्मारक समाधि |
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व्यवसाय | व्यापारी, अन्वेषक |
प्रसिद्धि कारण | मार्को पोलोका यात्रा |
जीवनसाथी | डोनाटा बाडोर |
बच्चे | फ्यानटिना, बेल्लेला र मोरेट्टा |
माता-पिता |
माता: अज्ञात बुवा: निकोलो पोलो |
अंतिम स्थान |
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मार्को पोलो (वेनिस १५ सितंबर, १२५४ - वेनिस, २९ जनवरी, १३२४) एक इतालवी व्यापारी, खोजकर्ता और राजदूत था। उसका जन्म वेनिस गणराज्य में मध्य युग के अंत में हुआ था। अपने पिता, निकोलस पोलो (Niccolò) और अपने चाचा, मातेयो (Matteo), के साथ वह रेशम मार्ग की यात्रा करने वाले सर्वप्रथम यूरोपियनों में से एक था। उसने अपनी यात्रा १२७२ में लाइआसुस बंदरगाह (आर्मेनिया) से प्रारंभ की थी। उनकी चीन समेत, पूर्व की यात्रा का विस्तृत प्रतिवेदन ही लंबे समय तक पश्चिम में एशिया के बारे में जानकारी देने वाला स्रोत रहा है।मार्कोपोलो (१२९२-९३ ईं) वेनिस निवासी इतालवी यात्री था जिस ’ मध्यकालीन यात्रियों का राजकुमार' की उपाधि दी गई । इसका वृतांत ’द बुक ऑफ सर-मार्कोपोलो’ के नाम से हैं, जो तत्कालीन भारत के अर्थिक इतिहास की द्ष्टि से महत्वपूर्ण हैं। इसमे उसने काकतीय वंश की राजकुमारी रुद्रमादेवी का उल्लेख किया है था तेरहवी सदी के अंत में उसके द्वारा पांड्य राज्य की यात्रा की गई थी।
उसने अपनी यात्रा मार्ग इस प्रकार तय किया था:जो आर्मेनिया से होते हुए वे तुर्की के उत्तर में गए।
बाहरी कड़ियाँ
- [https://web.archive.org/web/20110812064144/http://www.livehindustan.com//news/videsh/international/article1-Marco-Polo-never-visited-Asia-2-2-184797.html यह 13वी शताब्दी के अंत मे पाण्ड्य देश की यात्रा पर आया था । इसका विवरण पांड्य समाज के अध्धयन के लिए उपयोगी है।