देयता
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वित्तीय लेखांकन में, देयता या देनदारी या दायित्व को आर्थिक लाभों का भविष्य में बलिदान के रूप में परिभाषित किया जाता है, जो बलिदान एक इकाई(संस्था) पिछले लेनदेन या अन्य पिछली घटनाओं के परिणामस्वरूप अन्य संस्थाओं को देने के लिए बाध्य है,[१] जिसके निपटान के परिणामस्वरूप भविष्य में संपत्तियो, सेवाओं के प्रावधान या आर्थिक लाभ की अन्य उपज का स्थानांतरण या उपयोग हो सकता है ।