नारा चंद्रबाबू नायडू

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नारा चंद्रबाबू नायडू
నారా చంద్రబాబు నాయుడు


पदस्थ
कार्यालय ग्रहण 
8 जून् 2014
राज्यपाल E.S.L. Narasimhan
पूर्वा धिकारी एन किरण कुमार रेड्डी
पद बहाल
1 September 1995 – 13 May 2004
राज्यपाल Krishan Kant
G. Ramanujam
C. Rangarajan
Surjit Singh Barnala
पूर्वा धिकारी Nandamuri Taraka Rama Rao
उत्तरा धिकारी Y. S. Rajasekhara Reddy
चुनाव-क्षेत्र कुप्पम, चित्तूर जिला, आन्ध्र प्रदेश

जन्म साँचा:br separated entries
राजनीतिक दल तेलुगु देशम पार्टी
जीवन संगी नारा भुवनेश्वरी
बच्चे नारा लोकेश
निवास हैदराबाद, तेलंगाना, भारत
शैक्षिक सम्बद्धता श्री वेंकटेश्वर विश्वविद्यालय
धर्म हिन्दू
जालस्थल Government Site
Official Site
साँचा:center
चंद्रबाबू नायडू बिल क्लिंटन के साथ

नारा चंद्रबाबू नायडू(तेलुगू:నారా చంద్రబాబు నాయుడు) (जन्म: 20 अप्रैल, 1950)आन्ध्र प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री हैं। उनके नाम आन्ध्र प्रदेश में सबसे लंबे समय तक मुख्यमंत्री रहने का कीर्तिमान भी है। वर्तमान में वे आन्ध्र प्रदेश विधान सभा में सदन के नेता हैं।

चंद्रबाबू का जन्म चित्तूर जिले के नारावारिपल्ली नामक गाँव में 20 अप्रैल 1950 को हुआ था। उन्होंने श्री वेंकटेश्वर विश्वविद्यालय तिरुपति से अर्थशास्त्र में मास्टर्स की उपाधि हासिल की और आजकल इसी विश्वविद्यालय से पीएचडी के लिए अपना शोध कार्य कर रहे हैं।

राजनैतिक जीवन

चंद्रबाबू नायडू का जन्म २० अप्रैल १९५० को आंध्र प्रदेश के रायलसीमा क्षेत्र के चित्तूर जिले में एक किसान परिवार में हुवा था | इनके माता पिता का नाम कर्जूरा और अम्मानम्मा था | नायडू भाई बहनों में सबसे बड़े है एवं इनकी दो छोटी बहनें और एक छोटा भाई है | चंद्रबाबू ने शेशापुरम ग्राम पंचायत और चंद्रगिरी जैसे भिभिन्न विद्यालयों में अध्ययन प्राप्त किया | उसके बाद नायडू ने तिरुपति के एस वी आर्ट्स कोल्लाते से अर्थशाश्त्र में स्नातक की डिग्री प्राप्त करने के बाद, स्नातकोत्तर की डिग्री प्राप्त की | नायडू अपने कॉलेज के दिनों से सामजिक और राजनयिक मुद्दों की यो ध्यान देने लगे थे, नायडू के साथ एस वी विश्वविद्यालय के समकालीन राजनीतिक व्यक्तियों में के एस नारायण और पिलेरू आर रेड्डी शामिल थे |

नायडू की विरासत


आन्ध्र प्रदेश के लिए विकास दृष्टि

बाबू की हत्या का प्रयास

1 अक्टूबर 2003 आंध्र प्रदेश के तत्कालीन मुख्यमंत्री चंद्रबाबू अपने मंत्रिमंडल सहयोगी बी गोपालकृष्णन रेड्डी और दो विधायकों संग तिरुपति के वेंकटेश्वर मंदिर जा रहे थे इसी दौरान नायडू पर माओवादियों ने उनके काफिले पर बम से हमला किया , नायडू बम बिस्फोट में बच गए परन्तु इस हमले में उनकी कालरबोन की दो हड्डियाँ टूट गयी थी |

इस मामले में पुलिस ने 33 लोगो को आरोपी बनाया, जिसमे से चार व्यक्ति गिरफ्तार हुए | माओवादी नेता और मुख्य साजिशकर्ता पी सुधाकर रेड्डी वर्ष 2009 में वारंगल जिले में पुलिस के साथ मुठभेड़ में मारा गया |

राजनैतिक भविष्य

इन्हें भी देखें

बाहरी कड़ियाँ

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